स्मृति, विस्मृति और कथ्य की पृष्ठभूमि में बजते विषाद के एक सुर की रचना है ‘द अनकन्सोल्ड’

गजानन रैना साहित्यानुरागी है और साहित्य के अलग अलग पहलुओं  और साहित्यिक कृतियों पर बात करने का उनका अपना अलग अंदाज है। रैना उवाच के नाम से वह यह टिप्पणियाँ अपने सोशल मीडिया …

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रैना उवाच: क्लिष्ट दर्शन की एक सहज, सुबोध, प्रगीतात्मक शैली में कही कथा है, ‘सिद्धार्थ’

गजानन रैना साहित्यानुरागी है और साहित्य के अलग अलग पहलुओं  और साहित्यिक कृतियों पर बात करने का उनका अपना अलग अंदाज है। रैना उवाच के नाम से वह यह टिप्पणियाँ अपने सोशल मीडिया …

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‘कालजयी’ उपन्यास ‘the नियोजित शिक्षक’

‘द नियोजित शिक्षक’ लेखक तत्सम्यक् मनु का दूसरा उपन्यास है। यह उपन्यास नायक के माध्यम से शिक्षकों विशेषकर नियोजित शिक्षकों के जीवन से जुड़े कई पहलुओं से पाठक को वाकिफ करवाता …

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हिंदी साहित्य के रिवाजों को तोड़ती है ‘the नियोजित शिक्षक’

‘द नियोजित शिक्षक’ लेखक तत्सम्यक् मनु का दूसरा उपन्यास है। यह उपन्यास नायक के माध्यम से शिक्षकों विशेषकर नियोजित शिक्षकों के जीवन से जुड़े कई पहलुओं से पाठक को वाकिफ …

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गोन विद द विंड 3: युद्ध की पृष्ठभूमि में रची प्रेम कथा है गोन विद द विंड

 गोन विद द विंड अंग्रेजी के सर्वश्रेष्ठ उपन्यासों में से एक माना जाता है। 1936 में प्रकाशित हुए इस उपन्यास ने अपने प्रकाशन के तुरन्त बाद ही लोगों के दिल में अपनी …

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गोन विद द विंड 1: एक अलग कालखण्ड की यात्रा है गोन विद द विंड

गोन विद द विंड अंग्रेजी के सर्वश्रेष्ठ उपन्यासों में से एक माना जाता है। 1936 में प्रकाशित हुए इस उपन्यास ने अपने प्रकाशन हुए इस उपन्यास ने अपने प्रकाशन के तुरन्त बाद …

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रैना उवाच: अपनी आधुनिकता में भी अपनी जड़ों से जुड़ी हुईं थीं मन्नू भण्डारी

15 नवंबर 2021 को वरिष्ठ लेखिका मन्नू भण्डारी इस नश्वर संसार से चली गईं। 90 वर्ष का भरपूर जीवन जीने के पश्चात वह एक नवीन यात्रा पर चल पड़ीं। अपने …

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रैना उवाच: जरायम पर रची एक सार्थक कृति है ,’धर्मक्षेत्रे कुरुक्षेत्रे’

गजानन रैना साहित्यानुरागी है और साहित्य के अलग अलग पहलुओं  और साहित्यिक कृतियों पर बात करने का उनका अपना अलग अंदाज है। रैना उवाच के नाम से वह यह टिप्पणियाँ …

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विक्रम की डायरी: पहले पन्ने से अपने मोहपाश में बाँध देती है कागज की नाव

नीलेश ‘विक्रम’ हिन्दी साहित्य और हिन्दी सिनेमा में विशेष रूचि रखते है और इन विषयो पर अक्सर अपने विचार लिखा करते हैं। । फेसबुक पर हिन्दी सिनेमा पर उनके लिखे पोस्ट जिन्हें …

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चौरासी: दंगे की पृष्ठभूमि पर रची दिल को छू जाने वाली एक प्रेम कथा

राघवेन्द्र सिंह एक कुशल संपादक तो हैं ही साथ में एक सजग पाठक भी  हैं। वो अक्सर किताबों पर अपनी राय लिखते रहते हैं। आज एक बुक जर्नल पर पढ़िए …

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विक्रम की डायरी: सुरेन्द्र मोहन पाठक की रचनाओं में मौजूद एक नायाब हीरा है ‘एक करोड़ का जूता’

नीलेश पवार ‘विक्रम’ राज्य प्रशासनिक सेवा में कार्यरत हैं। वह होशंगाबाद, मध्य प्रदेश में रहते हैं। हिन्दी साहित्य और हिन्दी सिनेमा में उनकी विशेष रूचि है जिस पर वह अक्सर अपने …

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