राइटर्स ब्लॉक कैसे तोड़ें? - प्रवीण कुमार झा | लेख | साहिंद

राइटर्स ब्लॉक कैसे तोड़ें? – प्रवीण कुमार झा

एक लेखक कभी नहीं चाहेगा कि उसकी चलती कलम में विराम लगे लेकिन फिर भी लेखक के जीवन में एक ऐसा समय आता है जब उसे लगने लगता है कि उसकी कलम ने उसका साथ छोड़ दिया है। अंग्रेजी में इस स्थिति को राइटर्स ब्लॉक कहा जाता है जब लेखक को सूझता नहीं है कि वो जो लिख रहा था उसे पूरा कैसे करे या कुछ नए लिखने की शुरुआत कैसे करे?

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कथेतर विधा पर दो टिप्पणियाँ - प्रवीण कुमार झा

कथेतर विधा पर दो टिप्पणियाँ – प्रवीण कुमार झा

लेखक प्रवीण कुमार झा ने साहिंद वेबसाइट में कथेतर विधा के ऊपर दो टिप्पणियाँ प्रकाशित की थीं। यह टिप्पणियाँ चूँकि एक दूसरे से सम्बंधित हैं तो हमने सोचा एक बुक जर्नल पर प्रकाशित करते समय इन्हें एक साथ ही रखा जाए। आप भी पढ़िए:

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