लेखक अनिल मोहन |
अर्जुन भारद्वाज अनिल मोहन द्वारा रचा गया एक प्रसिद्ध किरदार है। अर्जुन भारद्वाज एक पी डी(प्राइवेट डिटेक्टिव) है जो जरूरत पड़ने पर कानून को अपने हाथ में लेने में झिझकता नहीं है। वह सुपर प्राइवेट डिटेक्टिव एजेंसी का मालिक है जहाँ नीना नाम की उसकी सेक्रेटरी उसका काम देखती है।
इसके अलावा उसके मातहत बंसल और पंडित उसके लिए मामले की छान-बीन करते हैं।
अर्जुन भारद्वाज श्रृंखला के उपन्यास हार्ड बॉयल्ड शैली के होते हैं। इनमें एक्शन खूब होता है और अर्जुन कई बार दुश्मनों को गाजर मूली के समान काटता सा दिखता है। अपराधियों को मारने में वह झिझकता नहीं है और इसलिए कई बार कानून से भी उसे दो चार होना पड़ता है। बस चूँकि वह सबूत नहीं छोड़ता है तो कानून उसका अभी तक कुछ बिगाड़ नहीं पाया है।
हिंदी साहित्य में मौजूद प्राइवेट डिटेक्टिवो में से अर्जुन भारद्वाज इसलिए अलग है क्योंकि वह न ज्यादा बोलता है और न ही औरतों को देखकर कामातुर हो जाता है।
मेरी जानकारी में इस श्रृंखला के अंतर्गत निम्न उपन्यास प्रकाशित हुए हैं:
- हिंसा का तांडव
- गैंगस्टर
- खतरे का हथौड़ा
- खतरनाक आदमी
- दौलत की खातिर
- मेहरा मर्डर केस